मैंने केदार बाबू के गीतों पर केन्द्रित जो लेख उनकी जंन्मशती के अवसर पर लिखा था (छन्दप्रसंग ब्लाग पर और प्रवक्ता डाट काम पर उपलब्ध है, उससे नचिकेता जी का आलेख कितना भिन्न है गीतगागर को पढे बिना नहीं कह सकता।
-भारतेन्दु मिश्र
June 18 at 9:15am
-भारतेन्दु मिश्र
June 18 at 9:15am
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